क्योंकि लोगों की धार्मिक भावनाएँ तो तब भी आहत हुई थी, जब गैलीलियो ने कहा था कि पृथ्वी गोल है, जब राजाराम मोहन राय ने सती प्रथा का विरोध किया था, जब ईश्वरचन्द्र विद्यासागर ने विधवाओं के पुनर्विवाह का समर्थन किया था और जब सावित्रीबाई फुले एक भारतीय विदुषी ने लड़कियों और दलितों के लिये पहले -पहल स्कूल की स्थापना की थी।
-By Jyoti Pethakar Ji from Facebook
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